जी हाँ हम बात कर रहे हैं दिल्ली की भूतपूर्व मुख्य-मंत्री वा दिल्ली प्रदेश कोग्रेस कमेटी वर्तमान अध्यक्षा शीला दिक्षित की । कल दोपहर तीन बजे एस्कोर्ट फोर्टी अस्पताल में उन्होंने अंतिम साँस ली । उन्हें दिल का दौरा पड़ा था ।
हर दिल अजीज कांग्रेसी नेता शीला दिक्षित तीन बार दिल्ली की मुख्य-मंत्री रहीं । दिल्ली की काया पलटने में उनकी महत्वपूर्ण भूमिका रही है । यह उन्हीं का प्रयास है कि दिल्ली की गिनती आज विश्व के चुने हुए शहरों में होती है ।
इसमें दो राय नहीें कि दिल्ली की कायापलट शीला दिक्षित का योगदान है । चैड़ी सड़कें, फ्री फलो ट्रेफिक के लिए जगह जगह फलाई ओवर,कोमन वेल्थ गेम्स के लिये आधुनिक स्टेडियम और तो और दिल्ली की अब लाइफ बन गई मेट्रो उसी शासनकाल की ही देन है ।
पंजाब के कपूरथला में जन्मी 81 वर्षिय शीला दिक्षित नेहरू वा इंदिरा शासनकाल में केंद्रिय मंत्री पंडित उमाशंकर दिक्षित की पुत्रवधु थी । उनकी गिनती कांग्रेस के जाने माने नेता के रूप मे होती है ।
हरदिल अजीज शीला दिक्षित को दी देश ने अंतिम विदाई....